कोरबा जनपद में फर्जीवाड़ा, अध्यक्ष-उपाध्यक्ष, बाबू,दलालों पर आरोप
कोरबा। जनपद पंचायत कोरबा के बैठक पंजी / रजिस्टर में बैठक के पश्चात फर्जी रूप से 15 वें वित्त की राशि एवं जनपद विकास निधि के विकास कार्यों को फर्जी रूप से लिख कर फर्जी प्रस्ताव अनुमोदन का प्रयास की शिकायत कर कार्यवाही का आग्रह कलेक्टर से किया गया है।
जनपद सदस्यों ने हस्ताक्षरित शिकायत पत्र में कलेक्टर को अवगत कराया है कि जनपद पंचायत कोरबा में सामान्य सभा की बैठक दिनांक 02.09.2024 को जनपद पंचायत में रखी गई थी जिसमें सत्र 2024-25 के जनपद विकास निधि एवं 15 वें वित्त की राशि से सम्बंधित विकास कार्यों का अनुमोदन उपस्थित सदस्यों के द्वारा बैठक रजिस्टर में क्षेत्र के विकास कार्यों को लिखवाकर हस्ताक्षर किया गया था, जिसमें कुछ दिनो पश्चात् जनपद अध्यक्ष हरेश कंवर, उपाध्यक्ष नंद कुमार कंवर, बाबू ओम प्रकाश राठौर एवं दलालनुमा ठेकेदार आशीष गांगुली (रामपुर विधायक प्रतिनिधि), किशन कोसले के द्वारा मिलीभगत कर बैठक पंजी/ रजिस्टर में बैठक के पश्चात फर्जी रूप से 15 वें वित व जनपद विकास की निधि के विकास कार्यों का फर्जी रूप से बिना बैठक के लाखो-लाखो के विकास कार्य लिखकर फर्जी अनुमोदन करने का प्रयास किया गया। जनपद पंचायत कोरबा के मुख्य कार्यपालन अधिकारी इंदिरा भगत को फर्जी प्रस्ताव में हस्ताक्षर करवाने हेतु दबाव दिया गया एवं नही करने पर उनके उपर फर्जी शिकायत जनपद अध्यक्ष हरेश कंवर, उपाध्यक्ष नंद कुमार कंवर एवं दलालनुमा ठेकेदार आशीष गांगुली (रामपुर विधायक प्रतिनिधि), किशन कोसले द्वारा जिला प्रशासन कोरबा को पत्र के माध्यम से भेजकर दबाव बनाया जा रहा है व जनपद पंचायत से हटाने का भी प्रयास इनके द्वारा किया जा रहा है।
जनपद सदस्यों ने बताया कि पूर्व में भी तत्कालीन सी.ई.ओ. सरोज महिलांगे ( वर्तमान में एस.डी.एम. कोरबा ) के समय ऐसा कृत्य कर फर्जी प्रस्ताव का अनुमोदन कराया गया था जिसमें कई सदस्य अपने क्षेत्र के विकास राशि प्राप्त नहीं कर पाए तथा कई सदस्यों के द्वारा जिला प्रशासन को इस विषय पर शिकायत के माध्यम से अवगत कराया गया था। जनपद पंचायत कोरबा में ठेकेदारनुमा एवं दलालनुमा लोग जैसे आशीष गांगुली, किशन कोसले के द्वारा कई भोले-भाले सदस्यों को गुमराह किया जाता रहा है एवं कार्यालय के महत्वपूर्ण दस्तावेज एवं कई विकास कार्यों से संबंधित फाईलो को छेड़छाड किया जाता रहा है। इन लोगों पर तत्काल प्रतिबंध लगाया जाए।
कलेक्टर से आग्रह किया गया है कि उपरोक्त विषय को ध्यान में रखकर गंभीरता से अवलोकन एवं जांच कर उचित कार्यवाही करने का कष्ट करें।